सरकारी कर्मी ने नौकरी का झांसा दे कर की जालसाजी… जाल में फंसे रिटायर्ड रेल्वे कर्मी… 15 लाख की ठगी…
बिलासपुर, अप्रैल, 08/ 2022
रेल्वे में नौकरी लगाने का झांसा देकर पीएचई के मानचित्रकार ने रेल्वे के रिटायर्ड कर्मियों से लाखों की ठगी कर ली। मानचित्रकार ने बकायदा तय सीमा में नौकरी लगवा देने का एग्रीमेंट भी पीड़ितों से करवाया था। पर नौकरी न लगवा पाने पर रकम वापसी का इंतजार करते करते एक पीड़ित की मौत हो गयी जिसके बाद 83 वर्षीय दूसरे पीड़ित ने पुलिस में एफआईआर दर्ज करवाई।
मिली जानकारी के अनुसार सिरगिट्टी थाना क्षेत्र के अन्नपूर्णा कालोनी में रहने वाले राधेलाल उइके रिटायर्ड रेलवे कर्मचारी हैं। उनके साथ नत्थुलाल बालबोंदरे भी काम करते थे। नत्थुलाल के माध्यम से उनकी पहचान 2014 में राजेंद्र कुमार सोनकुंवर से हुई। राजेंद्र कुमार मुंगेली जिले में लोक स्वास्थ्य यांत्रिक विभाग में मानचित्रकार थे। उसने रिटायर्ड रेलवे कर्मचारियों को बताया कि रेलवे के अधिकारियों से अच्छी जान पहचान है। इसके माध्यम से वह दोनों रिटायर्ड कर्मचारियों के रिश्तेदारों की नौकरी लगवा सकता है। इस पर दोनों सेवानिवृत्त कर्मचारियों ने अपने छह रिश्तेदारों की नौकरी लगवाने के लिए बात की। राजेंद्र ने सभी की नौकरी लगवाने के लिए 26 लाख स्र्पये में सौदा तय कर लिया। इसके एवज में उसने एडवांस के रूप में 15 लाख स्र्पये ले लिए। इसके लिए राजेंद्र ने इकरारनामा भी लिखकर दिया कि नियत तिथि में सरकारी नौकरी न लगवा पाने की स्थिति में मैं पैसा वापस करूँगा अन्यथा पीड़ित कानूनी कार्यवाही करने हेतु स्वतंत्र है। अपने बच्चों की नौकरी नहीं लगने पर दोनों रिटायर्ड कर्मचारियों ने राजेंद्र से स्र्पये वापस मांगे। इस पर वह टालमटोल करने लगा। दबाव बनाने पर उसने गांव की जमीन बेचने के बाद स्र्पये वापस करने की बात कही। इसके बाद वह बीते दो साल से गायब है। रिटायर्ड कर्मचारी ने मुंगेली जाकर उसके कार्यालय में पता किया। कार्यालय में पता चला कि राजेंद्र दो साल से बिना सूचना दिए ड्यूटी से गायब है। इस पर पीड़ित ने सिरगिट्टी थाने में मामले की शिकायत की। शिकायत पर पुलिस जुर्म दर्ज कर मामले की जांच कर रही है।
सरकारी कर्मचारी होने का हवाला देकर करता रहा टालमटोल- पीड़ित राधेलाल ने बताया कि आरोपित उनके स्र्पये वापस करने लगातार टालमटोल कर रहा था। इस पर उन्होंने मामले की शिकायत थाने में करने की बात कही। इस पर आरोपित राजेंद्र अपनी सरकारी नौकरी जाने का हवाला देकर उनसे प्रार्थना करने लगा। उसकी नौकरी जाने के डर से पीड़ित ने भी पहले शिकायत नहीं की। इस बीच वह परिवार के साथ गायब हो गया। ईधर दूसरी तरफ बच्चो की नौकरी न लगने पर रकम वापसी का इंतजार करते करते पीड़ित बाल बोंदरे का निधन हो गया। जिसके बाद उनके 83 वर्षीय बुजुर्ग साथी राधेलाल उईके ने पुलिस में शिकायत दर्ज करवाई। पुलिस एफआईआर दर्ज कर फरार आरोपी की तलाश में जुट गई है।
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